अगर आपका खाता SBI, PNB, या BOB में है, तो यह खबर जरूर पढ़ें। इन बैंकों ने अपने नियमों में कई महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं, जो आपके बैंकिंग अनुभव को प्रभावित कर सकते हैं। ये बदलाव ATM ट्रांजेक्शन, चेक क्लियरेंस, IMPS ट्रांजेक्शन, और फिक्स्ड डिपॉजिट (FD) स्कीम्स जैसे विभिन्न क्षेत्रों में हुए हैं।
इन बदलावों का उद्देश्य ग्राहकों को बेहतर सेवाएं प्रदान करना और बैंकिंग प्रणाली को अधिक सुरक्षित बनाना है। SBI, PNB, और BOB ने अपने ग्राहकों के लिए कई नए नियम लागू किए हैं, जिनमें न्यूनतम बैलेंस, ATM शुल्क, और UPI पेमेंट लिमिट शामिल हैं।
इन सभी बदलावों को समझने से पहले, यह जानना महत्वपूर्ण है कि ये नियम आपके बैंकिंग कार्यों को कैसे प्रभावित करेंगे। आइए इन बदलावों के बारे में विस्तार से जानते हैं।
Banking Rules Update
इन बैंकों द्वारा किए गए बदलावों का एक विस्तृत विवरण निम्नलिखित है:
Read Also Related Posts
- 1 मार्च से कौन-कौन से नियम बदल रहे हैं? UPI चार्ज, LPG की नई कीमतों पर बड़ा अपडेट!
- EPFO का बड़ा फैसला! कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए 5 नए नियम लागू? EPFO 5 New Rules 2025
- Jio Coin में निवेश करना सुरक्षित है या यह एक बड़ा स्कैम है? पूरी जानकारी यहां पढ़ें!
- MP कर्मचारियों के लिए खुशखबरी! 1 अप्रैल से HRA में बढ़ोतरी संभव, जानें नया रेट MP Employee HRA Hike 2025
- पोस्ट ऑफिस की नई ब्याज दरें मार्च 2025: जानें सभी बचत योजनाओं के नए रेट Post Office New Interest Rate March 2025 | पोस्ट ऑफिस की नई स्कीम
बैंक का नाममुख्य बदलावSBIIMPS ट्रांजेक्शन लिमिट ₹5 लाख तक बढ़ाई गई। ऑनलाइन ट्रांजेक्शन पर कोई शुल्क नहीं।PNBEMI चुकवाने में विफलता पर ₹250 का दंड।BOBपॉजिटिव पे सिस्टम लागू किया गया, जिसमें ₹5 लाख से अधिक के चेक के लिए पूर्व अनुमोदन आवश्यक है।सर्व बैंकान्यूनतम बैलेंस और ATM ट्रांजेक्शन पर नए शुल्क लागू।
Also Read
SBI खाताधारकों के लिए बड़ा झटका! तुरंत करें ये जरूरी काम, वरना हो सकता है नुकसान SBI Bank New Update 2025
SBI के बदलाव
SBI ने अपने ग्राहकों के लिए कई महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं:
- IMPS ट्रांजेक्शन लिमिट: SBI ने IMPS ट्रांजेक्शन की सीमा ₹2 लाख से बढ़ाकर ₹5 लाख कर दी है। हालांकि, शाखा के माध्यम से किए गए IMPS ट्रांजेक्शन पर ₹20 प्लस GST का शुल्क लगेगा.
- ऑनलाइन ट्रांजेक्शन: ऑनलाइन ट्रांजेक्शन पर कोई शुल्क नहीं होगा।
- फिक्स्ड डिपॉजिट स्कीम्स: SBI ने लाखपति आरडी और पैट्रन्स एफडी जैसी नई स्कीम्स शुरू की हैं। लाखपति आरडी में ग्राहकों को 3 और 4 साल की अवधि के लिए 6.75% की ब्याज दर मिलेगी, जबकि पैट्रन्स एफडी में सुपर सीनियर सिटीजन को 7.6% तक की ब्याज दर मिलेगी.
PNB के बदलाव
PNB ने भी अपने नियमों में कुछ महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं:
- EMI चुकवाने में विफलता पर दंड: अगर कोई ग्राहक EMI चुकाने में विफल रहता है, तो उसे ₹250 का दंड देना होगा.
- नई FD स्कीम्स: PNB ने 303 दिनों की अवधि के लिए 7% और 506 दिनों की अवधि के लिए 6.7% ब्याज दर वाली नई FD स्कीम्स शुरू की हैं.
BOB के बदलाव
BOB ने भी अपने नियमों में कुछ महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं:
- पॉजिटिव पे सिस्टम: BOB ने चेक क्लियरेंस के लिए पॉजिटिव पे सिस्टम लागू किया है, जिसमें ₹5 लाख से अधिक के चेक के लिए पूर्व अनुमोदन आवश्यक है। अनुमोदन के बिना चेक वापस कर दिया जाएगा.
- लिक्विड फिक्स्ड डिपॉजिट: BOB ने लिक्विड फिक्स्ड डिपॉजिट स्कीम शुरू की है, जिसमें ग्राहकों को आंशिक निकासी की सुविधा मिलती है और प्रीमेच्योर विदड्रॉल पर कम शुल्क लगता है.
सामान्य बदलाव
इन बैंकों ने कुछ सामान्य बदलाव भी किए हैं जो सभी ग्राहकों पर लागू होते हैं:
- ATM ट्रांजेक्शन लिमिट: अब ग्राहक महीने में केवल तीन बार मुफ्त में ATM से पैसे निकाल सकते हैं। इसके बाद प्रत्येक ट्रांजेक्शन पर ₹20 का शुल्क लगेगा.
- UPI पेमेंट लिमिट: UPI पेमेंट की दैनिक सीमा ₹1.5 लाख कर दी गई है.
- चेकबुक और डेबिट कार्ड शुल्क: 25 पन्नों की चेकबुक के लिए अब ₹150 का शुल्क देना होगा, और डेबिट कार्ड रिन्यूअल शुल्क ₹200 कर दिया गया है.
Also Read
क्या SBI, PNB समेत इन 3 बैंकों ने बदले अपने नियम? बैंक खाताधारकों के लिए जरूरी अपडेट! PNB, SBI, BOB Bank New Rules
न्यूनतम बैलेंस और शुल्क
इन बैंकों ने न्यूनतम बैलेंस के नियमों में भी बदलाव किए हैं:
- ग्रामीण क्षेत्रों में: न्यूनतम बैलेंस ₹1,000 होना आवश्यक है।
- शहरी क्षेत्रों में: न्यूनतम बैलेंस ₹5,000 होना आवश्यक है.
महत्वपूर्ण बातें
इन बदलावों को ध्यान में रखते हुए, ग्राहकों को अपने बैंकिंग कार्यों को सावधानी से प्रबंधित करना चाहिए। यहाँ कुछ महत्वपूर्ण बातें हैं जिन पर ध्यान देना चाहिए:
- नियमित रूप से अपने खाते की जांच करें ताकि न्यूनतम बैलेंस बनाए रखा जा सके।
- ATM ट्रांजेक्शन की सीमा का ध्यान रखें और आवश्यकतानुसार ही ट्रांजेक्शन करें।
- UPI पेमेंट लिमिट का ध्यान रखें और बड़े लेनदेन के लिए अन्य विकल्पों का उपयोग करें।
- चेक क्लियरेंस के लिए पॉजिटिव पे सिस्टम का उपयोग करें ताकि चेक वापस न हो।
निष्कर्ष
इन बदलावों से यह स्पष्ट होता है कि बैंक अपने ग्राहकों को बेहतर सेवाएं प्रदान करने और बैंकिंग प्रणाली को सुरक्षित बनाने के लिए निरंतर प्रयास कर रहे हैं। ग्राहकों को इन नियमों का पालन करना चाहिए और अपने बैंकिंग कार्यों को सुव्यवस्थित तरीके से चलाना चाहिए।
Disclaimer: यह लेख सामान्य जानकारी प्रदान करने के लिए है और किसी विशिष्ट बैंकिंग सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। बैंकिंग नियमों में बदलाव समय-समय पर होते रहते हैं, इसलिए ग्राहकों को अपने बैंक से संपर्क करके नवीनतम जानकारी प्राप्त करनी चाहिए।